शादी को लेकर हमारे मन में तमाम तरह के सवाल आते रहते हैं लेकिन श’र्म की वजह से ऐसा भी होता है कि हम उस पर किसी से बात नहीं कर पाते हैं। ऐसे में एक सवाल ऐसा भी है शादी को लेकर जो कमोबेश सभी के दिल में एक बार ज़रूर ही आ जाता है जिन्हें इसके बारे में पता नहीं होता है. बड़ी बात यह है कि हमारे आस पास मौजूद लोग भी उस सवाल को लगा तार करते रहते हैं जिसकी वजह से हम उसे लेकर घबरा जाते है।
सवाल यह है कि क्या शादी वाली रात को ही एक शौहर का अपनी बीवी के साथ ह’म बि’स्त’री करना ज़रूरी है। दर असल एक सामान्य समाज में अक्सर यह सवाल किया जाता है। एक राय लोगों के बीच यह बन गयी है कि अगर शादी वाली रात को मिया और बीवी के बीच वह न हो तो अगले दिन जो वलीमा किया जाता है उसका खाना जायज़ नहीं होता है क्योंकि यह खाना शादी की ही नियत से खिलाया जाता है।
हम आपको बता दें कि यह बात एकदम भी सही नहीं है। यह जान लीजिये कि वलीमा सुन्नत है। ऐसे में अगर शादी के बाद मिया और बीवी ने कुछ वक़्त साथ गुज़ारा हो और भले ही दोनों के बीच वह न हुआ हो तब भी वलीमे का खाना सुन्नत ही माना जायेगा। इसके लिए आपको वो करने या न करने से कोई फर्क नहीं पड़ता है।
यह बात हम आपको इस लिए बता रहे हैं क्योंकि इसे लेकर बहुत से लोगों में एक तरह की उलझन और ग़’ल’त फ़हमी बनी रहती है। वहीँ यह बात आपको समझना ज़रूरी है कि अगर अब भी किसी तरह का सवाल आपके मन में है तो इसे मन में न रखें बल्कि इसे लेकर किसी जानकार या आलिम वगैरा से बात करें।