रांची/मुंबई: चुनावी रैलियों में जब नेता अपनी पार्टी की तारीफ़ करते हैं तो लगता है की उनकी पार्टी से अच्छी कोई चीज़ दुनिया में है ही नहीं. कुछ इसी तरह जब विरोधियों की बुराई करते हैं तो वो कुछ ऐसे ही होता है कि इनसे बुरा तो कुछ भी नहीं है. कुछ इसी तरह का प्रचार भारतीय जनता पार्टी ने कांग्रेस के इरफ़ान अंसारी के ख़िलाफ़ जम्तारा में किया था. भाजपा के क़द्दावर नेता और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री भी यहाँ पहुंचे. झारखण्ड विधानसभा चुनाव के दौरान उनकी ये रैली कई मायनों में चर्चा का विषय रही.
यहाँ पर जब भाजपा प्रत्याशी के पक्ष में रैली करने योगी आदित्यनाथ आये तो उन्होंने कहा की अगर राम मंदिर बनना है तो इरफ़ान अंसारी के जीतने से तो नहीं बन सकता. उनके इस बयान की अब सोशल मीडिया पर बहुत चर्चा हो रही है. असल में जम्तारा सीट से कांग्रेस नेता इरफ़ान अंसारी ने 38741 वोटों की बड़ी जीत हासिल की है. अंसारी की जीत एक तरह से भाजपा के लिए सबक़ भी है जिसने इस सीट को साख का विषय बनाने की कोशिश की थी.
झारखण्ड में इस बात अगर मुस्लिम विजेताओं की बात करें तो कुल ३ विधायक इस बार झारखण्ड विधानसभा पहुंचे हैं. जम्तारा के अलावा मधुपुर और पाकुर में मुस्लिम विजेता रहे. मधुपुर में हाजी हुसैन अंसारी ने 23 हज़ार से अधिक वोटों से जीत हासिल की. वो झारखण्ड मुक्ति मोर्चा के टिकट पर मैदान में थे. वहीँ पाकुर से कांग्रेस के आलमगीर आलम ने बड़ी जीत हासिल की. उन्होंने 65 हज़ार से भी अधिक वोटों से जीत हासिल की.
उल्लेखनीय है की झारखण्ड मुक्ति मोर्चा+कांग्रेस गठबंधन ने झारखण्ड विधानसभा चुनाव में बहुमत प्राप्त कर लिया है. गठबंधन ने 47 सीटों पर जीत दर्ज की. भाजपा को महज़ 25 सीटें हासिल हुई हैं. जेवीएम् को तीन सीटें मिली हैं. इसके साथ ही ये तय माना जा रहा है की राज्य के अगले मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन होंगे.